मुठभेड़ में ढेर शूटर गुलाम का परिजनों ने शव लेने से किआ इंकार

राष्ट्रीय जजमेंट न्यूज़

रिपोर्ट

प्रयागराज: असद के साथ एनकाउंटर में मारा गया गुलाम हसन भाजपा अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ के पूर्व जिलाध्यक्ष राहिल हसन का भाई है। उमेश पाल हत्याकांड के बाद राहिल हसन को भी पुलिस ने हिरासत में लिया था और करीब 14 दिन तक पूछताछ के बाद उसे छोड़ दिया था। गुलाम की मुठभेड़ में मौत के बाद उसके भाई राहिल हसन ने कहा कि वह गुलाम हसन का शव नहीं लेंगे। वह आपराधिक प्रवृत्ति का व्यक्ति था। उसने हमारे परिवार की छवि को मिट्टी में मिलाने का कार्य किया है।

इसलिए हम उसके शव को नहीं लेंगे।वहीं गुलाम की मां खुशनुदा ने कहा कि, जितने भी गंदा काम करने वाले हैं वह जिंदगी भर याद रखेंगे। हमारे हिसाब से (UP-STF ने) गलत नहीं किया। तुमने किसी को मारकर गलत किया और जब तुम्हारे पर कोई आया तो हम उसको गलत कैसे कहें? मैं शव को नहीं लूंगी। उसकी पत्नी का उन पर हक है, मैं उसको मना नहीं कर सकती। मैं अपनी जिम्मेदारी लेती हूं कि हम नहीं लेंगे।

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