ईडी ने बैंक धोखाधड़ी से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में जेट एयरवेज के संस्थापक नरेश गोयल को गिरफ्तार किया।

RJ NEWS

नई दिल्ली: जेट एयरवेज (Jet Airways) के फाउंडर नरेश गोयल (Naresh Goyal) को गिरफ्तार कर लिया गया है। मनी लॉन्ड्रिंग मामले में उन्हें गिरफ्तार किया गया है। केनरा बैंक से जुड़े 538 करोड़ रुपये के धोखाधड़ी के मामले ईडी (ED) ने उनसे पूछताछ की, जिसके बाद उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। 538 करोड़ रुपये का ये मामला केनरा बैंक घोटाला से जुड़ा है, जिसमें एक्शन लेते हुए ईडी ने जेट एयरवेज के फाउंडर नरेश गोयल को गिरफ्तार कर लिया है। कल उन्हें कोर्ट में पेश किया जाएगा।

आपको बता दें कि इस मनी लॉन्ड्रिंग में अरेस्ट करने से पहले ईडी ने उनसे कई घंटे पूछताछ की। ईडी ने केनरा बैंक की एक शिकायत पर गोयल, उनकी पत्नी अनीता गोयल, आनंद शेट्टी और जेट एयरवेज (इंडिया) लिमिटेड (जेआईएल) के खिलाफ 538 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी का नया मामला दर्ज किया था। इस मामले में गोयल और जेट एयरवेज के कई ठिकानों पर छापेमारी की गई।

बंद पड़ी एयरलाइन जेट एयरवेज (Jet Airway) के प्रमोटर रहे नरेश गोयल (Naresh Goyal) पर ईडी का शिकंजा कसता चला गया। ईडी ने नरेश गोयल समेत अन्य के खिलाफ धोखाधड़ी का नया मामला दर्ज किया। हाल ही में गोयल के मुंबई और दिल्ली के आठ ठिकानों पर छापेमारी की गई। 538 करोड़ रुपये के बैंक फ्रॉड के मामले छापेमारी के बाद उनकी मुश्किलें और बढ़ती चली गई। सीबीआई ने अपनी जांच में गोयल, उनकी पत्नी अनीता गोयल और जेट एयरवेज एयरलाइन के डायरेक्टर रहे गौरंग आनंद शेट्टी को आरोपी बनाया। जांच एजेंसी ने केनरा बैंक की शिकायत पर एक नया मामला दर्ज किया है। अपनी शिकायत में केनरा बैंक ने लगाया गया था कि उसने जेट एयरवेज (इंडिया) लिमिटेड (जेआईएल) को 848.86 करोड़ रुपये के ऋण मंजूर किए थे, जिनमें से 538.62 करोड़ रुपये बकाया हैं।

आपको बता दें कि इससे पहले फरवरी 2023 में बॉम्बे हाई कोर्ट ने बड़ी राहत देते नरेश गोयल और उनकी पत्नी के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग के केस को खारिज कर दिया था। हालांकि कोर्ट ने कहा था कि अगर कोई नया केस सामने आता है तो ईडी उसकी जांच कर सकती है। अब ईडी ने इस मामले में एक्शन पूछताछ के बाद गोयल को अरेस्ट कर लिया है। जांच एजेंसी के मुताबिक एक अप्रैल, 2011 से 30 जून, 2019 के बीच ने प्रोफेशनल और कंसल्टेंसी एक्सपेंसेज के रूप में 1152.62 करोड़ रुपये खर्च किए थे। जेट एयरलाइन से जुड़ी कंपनियों के 197.57 करोड़ रुपये के लेनदेन जांच के घेरे में हैं। जांच में पाया गया कि कंपनी ने 1152.62 करोड़ रुपये में से 420.43 करोड़ रुपये प्रोफेशनल और कंसल्टेंसी एक्सपेंसेज के रूप में ऐसी कंपनियों को दिए जिनका इस तरह की सर्विस से कोई लेनादेना नहीं था।

आपको बता दें कि कभी देश की सबसे बड़ी प्राइवेट एयरलाइन रही जेट एयरलाइन अपने भारी भरकम कर्ज और नकदी संकट के चलते अप्रैल 2019 में बंद हो गई। यूएई के बिजनसमैन मुरारी लाल जालान और लंदन की कंपनी कालरॉक कैपिटल के कंसोर्टियम ने जून 2021 में इनसॉल्वेंसी प्रोसेस में जेट एयरलाइन को खरीदा था। इसके बाद से एयरलाइन के रिवाइवल की प्रोसेस चल रही है। विवादों में फंसने के बाद से जेट एयरवेज के मामलों की कई एजेंसियां जांच कर रही हैं। इनमें ईडी, सीबीआई, इनकम टैक्स और एसएफआईओ शामिल हैं।

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