भारत लोक शिक्षा परिषद करेगा एकल वार्षिक अमृत महोत्सव का आयोजन

वर्ष 1989 में झारखंड से 60 एकल विद्यालयों से शुरू हुआ ये अभियान आज एक लाख विद्यालयों तक पहुंच चुका

नई दिल्ली: भारत के दूर-दराज के इलाकों में जनजातीय और ग्रामीण बच्चों को शिक्षा प्रदान करने, ग्रामीण सशक्तिकरण, लैंगिक और सामाजिक समानता स्थापित करने के प्रतिबद्ध संस्था भारत लोक शिक्षा परिषद द्वारा दिल्ली में शिक्षित, स्वस्थ्य एवं समृद्ध भारत के निर्माण के लिए राष्ट्रीय दायित्व सम्मान, एवं राष्ट्रीय महिला विभाग और मणिपुरी कलाकारों द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है।

सीएसआर विभाग के ट्रस्टी और चेयरमैन सुभाष सी अग्रवाल ने कहा कि विश्व का सर्वश्रेष्ठ सामाजिक शिक्षा संगठन एकल अभियान पंचमुखी शिक्षा (शिक्षा, स्वास्थ्य, संस्कार, जागरण एवं स्वावलंबन के माध्यम से गावों के सर्वांगीण विकास के लिए कार्यरत है। वर्तमान में बिना किसी सरकारी सहायता के लगभग एक लाख एकल विद्यालय सफलतापूर्वक संचालित किये जा रहे हैं, जिसके माध्यम से लगभग 28 लाख बच्चे शिक्षा से लाभान्वित हो रहे हैं।

26 फरवरी 2019 को एकल अभियान ट्रस्ट को वर्ष 2017 के लिए भारत सरकार द्वारा गांधी शान्ति पुरस्कार दिया गया। राष्ट्र की चहुंमुखी प्रगति, विकास और राष्ट्र एवं संस्कृति को श्रेष्ठता के शिखर पर पुनः प्रतिष्ठित करने के लिए आज एकल अभियान को अधिक से अधिक बच्चों और गावों में पहुंचाने की आवश्यकता है।

भारत लोक परिषद के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिल गुप्ता व संयुक्त महासचिव सुनील गुप्ता ने बताया कि संस्था का उद्देश्य जिसका उद्देश्य ग्रामीण एवं आदिवासी क्षेत्रों में रहने वाले जरूरतमंद बच्चों तक शिक्षा पहुंचने के लिए समाज के प्रतिष्ठित दानदाता बंधुओं को एकल से जोड़ना, एकल का प्रचार प्रसार करना एवं एकल विद्यालय के लिए धन संग्रह करना है। इस कार्यक्रम में समाज के प्रतिष्ठित समाजसेवी, राजनेता, उद्योगपति, नौकरशाह, केंद्रीय पदाधिकारी, चैप्टर के पदाधिकारी एवं अन्य सभी संगठनों से आये हुए सम्मानित गणमान्य महानुभाव अपनी गरिमामयी उपस्थिति दर्ज कराएंगे।

संस्था के ज्वाइंट ट्रेजरार बृज मोहन अग्रवाल ने बताया कि वर्ष 1989 में झारखंड से 60 एकल विद्यालयों से शुरू हुआ ये अभियान आज एक लाख विद्यालयों तक पहुंच चुका है। विद्यालय में औसतन 25 से 30 छात्रों के साथ सप्ताह में 6 दिन, 3 घंटे के लिए चलाता है। जिसका मुख्य उद्देश्य पढ़ने, लेखन, मूल अंकगणित, सामान्य विज्ञान और बुनियादी सामाजिक अध्ययन, बुनियादी कौशल को पढ़ाना है।

एकल की उपयोगिता एवं राष्ट्र निर्माण में इसके महत्त्व को इस बात से भी समझा जा सकता है कि देश के प्रतिष्ठित संत समाज, शीर्ष राजनेता, सेलिब्रिटीज, बुद्द्जिवी एवं समाजसेवी लोगों ने एकल के कार्य से प्रभावित होकर इसे सराहा है |

एकल राष्ट्र निर्माण के साथ सामाजिक परिवर्तन लाने मे कार्यरत है। इसका उद्देश्य शिक्षित भारत, स्वस्थ भारत, स्वावलंबी भारत, जागरूक भारत, नशामुक्त भारत, संगठित भारत, सुरक्षित भारत, समरस भारत है।

उन्होंने कहा कि आज भारत को धर्मांतरण नक्सलवाद, माओवाद, आतंकवाद, गांवों से शहरों में पलायन, अशिक्षा, बीमारी, गरीबी आदि समस्याओं ने राष्ट्र को घेरा है, एकल एक प्रहरी के रूप में इन समस्याओं को दूर करने के लिए कार्यरत है ।

एकल मॉडल स्वामी विवेकानंद के दर्शन, सामाजिक सद्भाव और डॉ. बी. आर. अम्बेडकर के समानता के सिद्धांतों और महात्मा गांधी के ग्राम विकास मॉडल से प्रेरित है। जो निरक्षरता को खत्म करने और ग्रामीण और आदिवासी भारत के सामाजिक और आर्थिक विकास का समग्र दृष्टिकोण अपनाने में मदद करता है।

इस संस्था के संस्थापक स्वर्गीय मदन लाल अग्रवाला, प्रणेता एवं संस्थापक सदस्य मा. श्याम गुप्त, प्रो. मंजु दीदी श्रीवास्तव एवं अन्य सदस्य हैं। वर्तमान में एकल की पहुंच 2 राष्ट्र, 26 राज्य, 398 जिले, 1 लाख से अधिक गांव तक है। राष्ट्रीय समस्याओं के निराकरण के लिए धर्मांतरण, नक्सलवाद, माओवाद, आतंकवाद, शहरों से पलायन, अशिक्षा, रोग, गरीबी आदि को दूर करने में सहयोग से लगभग 17900 विद्यालय बार्डर गांव में, 21000 विद्यालय नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में, 70 फीसदी जनजातीय जनसंख्या एकल से लाभान्वित, 80 फीसदी आचार्य एवं सेवाव्रती जनजातीय एवं वंचित समाज से हैं।

महिला सशक्तिकरण की दिशा में प्रमुख कार्य करते हुए एकल विद्यालय में पढ़ने वाले बच्चों में 50 फीसदी लड़कियां हैं, महिला आचार्यों की संख्या 72 फीसदी है, पूर्णकालिक महिला कार्यकर्ताओं की संख्या 22 फीसदी है। आईटी से शिक्षा प्राप्त महिलाऐं जीआरसी सेंटर में कार्यरत हैं जिनकी संख्या 40 फीसदी है, 30 फीसदी महिलाएं एकल ओन व्हील में प्रशिक्षक हैं, 20 फीसदी महिलाएं जैविक पोषण वाटिका में प्रशिक्षक हैं। बाल-बालिकाएं लगभग समान अनुपात में शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं।

संस्था के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिल गुप्ता, सीएसआर कारपोरेट कमिटी के चेयरमैन राज चावला, डॉक्टर कीर्ति गोयल, सीएसआर ऑल कमेटी के चेयरमेन सीए करण गर्ग, राजिंदर मंगला,व शशि लोचन सिंह और प्रवीण कांत उपस्थित रहे।

 

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