दश लाख में दो नेपाली नागरिक को फर्जी भारतीय दस्तावेजों के आधार पर पासपोर्ट बनवाकर भेज रहे थे कंबोडिया, आईजीआई एयरपोर्ट पर खुली पोल

नई दिल्ली: आईजीआई एयरपोर्ट की पुलिस टीम ने नेपाल के रहने वाले दो नागरिकों का फर्जी आधार कार्ड, वोटर कार्ड और अन्य डॉक्यूमेंट बनाकर कंबोडिया भेजने के आरोप में वेस्ट बंगाल के दो एजेंट को गिरफ्तार किया है। लेकिन एयरपोर्ट पर पोल खुल गई और दोनों को आईजीआई एयरपोर्ट पर पकड़ लिया गया। वह दोनों पिछले साल बॉर्डर क्रॉस करके भारत आए थे। गिरफ्तार एजेंटों की पहचान सुभान सुभ और अनिल लामा तमांग के रूप में हुई है। यह दोनों वेस्ट बंगाल के रहने वाले हैं।

आईजीआई एयरपोर्ट डीसीपी उषा रंगनानी ने बताया कि 25–26 मार्च की रात दो लोग दिनेश सुब्बा और श्याम सुब्बा को आईजीआई एयरपोर्ट पर डॉक्यूमेंट जांच के दौरान पकड़ा गया था। यह लोग बैंकॉक होते हैं कंबोडिया जा रहे थे। डॉक्यूमेंट जांच में पता चला कि यह दोनों नेपाल के रहने वाले नागरिक हैं और इन्होंने भारत का वीजा फर्जी तरीके से लिया था। फिर पुलिस टीम ने एफआईआर दर्ज की और जांच शुरू की।

पूछताछ में इन्होंने पुलिस को बताया कि अच्छी लाइफ के लिए यह लोग विदेश में सेटल होना चाहते थे। एक दोस्त के जरिए यह पश्चिम बंगाल के रहने वाले एजेंट के संपर्क में आए। पिछले साल बॉर्डर क्रॉस करके नेपाल से भारत आए थे। एजेंट ने इन्हें 10 लाख रुपए में सारे डॉक्यूमेंट बनाकर कंबोडिया भेजने का वादा किया था। इन्हें भारत का नागरिक बनकर विदेश इसलिए जाना था, क्योंकि यहां के रहने वाले लोगों की सैलरी नेपाल के रहने वाले लोगों से डेढ़ से दो गुना ज्यादा होता है।

डीसीपी ने बताया कि पुलिस टीम ने एयरपोर्ट पकड़े गए उन दो लोगों से पूछताछ के बाद इन फरार एजेंट के बारे में पता लगाना शुरू किया। टेक्निकल सर्विलांस की मदद से टीम ने आरोपी एजेंट सुबन सुब्बा को मामले में गिरफ्तार कर लिया गया। पूछताछ करने पर उसने अपना अपराध कबूल कर लिया और खुलासा किया कि वह 10वीं तक पढ़ा है और पिछले कई सालों से पासपोर्ट एजेंट के रूप में काम कर रहा है। अपने काम के दौरान, वह कुछ अन्य एजेंटों के संपर्क में आया और उनकी मदद से उसने लोगों को विदेश भेजने के बहाने ठगना शुरू कर दिया। आरोपी ने आगे खुलासा किया कि वह अपने सहयोगियों की मदद से नेपाल के नागरिकों को भारतीय पहचान देने के लिए उनके लिए फर्जी भारतीय दस्तावेज तैयार करता था। उसने अनिल लामा और कुछ अन्य सहयोगियों के साथ मिलकर दोनों यात्रियों के लिए कंबोडिया की यात्रा के लिए भारतीय दस्तावेजों की व्यवस्था की और उनसे 10 लाख रुपये नकद लिए, जिसमें से 6 लाख रुपये उसके सहयोगी अनिल लामा के बैंक खातों में स्थानांतरित कर दिए गए।

आरोपी सुबन सुब्बा की निशानदेही पर उसके सहयोगी एजेंट अनिल लामा तमांग को भी दिल्ली में उसके ठिकाने से पकड़ा गया। उसने मामले में अपना अपराध कबूल कर लिया और खुलासा किया कि वह एक टिकट एजेंट के रूप में काम कर रहा है। अन्य सहयोगियों की संलिप्तता का पता लगाने और आरोपी व्यक्तियों के बैंक खातों की जांच की जा रही है।

 

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