दिल्ली में रहकर 100 करोड़ का चूना लगाने वाले चाइनीज ठग को पुलिस ने दबोचा

नई दिल्ली: दिल्ली पुलिस ने एक बड़े अंतरराज्यीय गैंग का पर्दाफाश किया है। दिल्ली के शाहदरा जिले के साइबर पुलिस स्टेशन की टीम ने 43.5 लाख रुपये से अधिक की ठगी से जुड़े एक बड़े साइबर धोखाधड़ी के मामले में एक चीनी नागरिक को गिरफ्तार किया है। जिसकी पहचान फेंग चेनजिन के रूप में हुई है, आरोपी मूलरूप से चीन के गौंगडोंग का रहने वाला है। वह अभी दिल्ली के सफदरजंग एंक्लेव इलाके के कृष्णा नगर में रह रहा था। आरोपी वॉट्सऐप ग्रुप के जरिये लोगों को टार्गेट बना कर ऑनलाइन स्टॉक ट्रेडिंग घोटाले के माध्यम सेसाइबर फ्रॉड करता था। पुलिस ने उसके कब्जे से अपराध में इस्तेमाल हुआ मोबाइल फोन और वॉट्सऐप चैट भी बरामद की हैं जिसमें आरोपी ने अपने साथी को फ्रॉड में शामिल मोबाइल नंबर को रिचार्ज करने का कहा था।

शाहदरा जिले के डीसीपी प्रशांत गौतम ने बताया कि एक व्यक्ति ने 24 जुलाई को साइबर क्राइम पोर्टल पर एक शिकायत दर्ज कराई थी। शिकायतकर्ता ने बताया था कि उसे शेयर मार्केट ट्रेनिंग सेशंस में फंसाकर धीरे-धीरे 43.5 लाख रुपये का इन्वेस्ट करने के लिए धोखा दिया गया। ये इन्वेस्टमेंट धोखेबाजों द्वारा नियंत्रित कई बैंक खातों में किए गए थे। मामले की संवेदनशीलता को देखते हुए एक टीम का गठन किया गया। जांच के दौरान उन बैंक खातों का विवरण प्राप्त किया गया जिनमें ठगी गई राशि ट्रांसफर की गई थी और संदिग्ध मोबाइल नंबर की कॉल डिटेल भी खंगाली गई।

डीसीपी ने बताया कि बैंक खातों और मोबाइल नंबरों की गहनता से जांच की गई, जिससे दिल्ली के मुंडका में स्थित महा लक्ष्मी ट्रेडर्स के नाम से 24 अप्रैल 2024 को 1.25 लाख रुपये की एक ट्रांजेक्शन की गई थी। आगे की जांच में रजिस्टर्ड एक मोबाइल फोन मिला, जिससे टीम ने सफदरजंग एंक्लेव में रहने वाले फेंग चेनजिन को उसके कब्जे से मोबाइल फोन और वॉट्सऐप चैट लॉग सहित सबूत बरामद होने के बाद गिरफ्तार कर लिया।

जांच से पता चला है कि फेंग चेनजिन आंध्र प्रदेश और उत्तर प्रदेश में साइबर क्राइम और मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़े दो अन्य धोखाधड़ी मामलों से जुड़ा हुआ है। साइबर क्राइम पोर्टल पर एक ही फिनकेयर बैंक खाते से जुड़ी 17 शिकायतें भी दर्ज हैं जिसमें कुल धोखाधड़ी की गई राशि 100 करोड़ रुपये से अधिक है। फेंग चेनजिन अप्रैल 2020 में आंध्र प्रदेश में एक ताइवानी कंपनी के लिए वर्क वीजा पर भारत आया था। आंध्र पुलिस द्वारा गिरफ्तारी के समय उसका वीजा वैध था। आंध्र पुलिस ने उसके पासपोर्ट और वीजा दोनों जब्त कर लिए थे। अब उसके पास कोई वैध वीजा नहीं है। फिलहाल मामले में आगे की कार्यवाही की जा रही है।

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