आप नेता अमानतुल्लाह खान पहुंचे सुप्रीम कोर्ट, वक्फ संशोधन बिल को दी चुनौती

राष्ट्रीय जजमेंट

आम आदमी पार्टी के विधायक अमानतुल्लाह खान ने वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2025 की संवैधानिक वैधता को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। अपनी याचिका में खान ने अनुरोध किया है कि विधेयक को असंवैधानिक और संविधान के अनुच्छेद 14, 15, 21, 25, 26, 29, 30 और 300-ए का उल्लंघन घोषित किया जाए और अदालत से इसे रद्द करने का आग्रह किया। खान ने तर्क दिया कि यह विधेयक संविधान के तहत गारंटीकृत मौलिक अधिकारों का उल्लंघन करता है, यह कहते हुए कि यह मुसलमानों की धार्मिक और सांस्कृतिक स्वायत्तता को कमजोर करता है। उन्होंने आगे दावा किया कि विधेयक मनमाने ढंग से कार्यकारी हस्तक्षेप की सुविधा देता है और अपने धार्मिक और धर्मार्थ संस्थानों का प्रबंधन करने के लिए अल्पसंख्यकों के अधिकारों को कमजोर करता है।वक्फ (संशोधन) विधेयक पहले ही लोकसभा और राज्यसभा दोनों से पारित हो चुका है। हालांकि, इसकी संवैधानिक वैधता को कई राजनीतिक नेताओं ने चुनौती दी है। शुक्रवार को कांग्रेस सांसद मोहम्मद जावेद और ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहाद-उल-मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने भी बिल को अवैध बताते हुए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया। कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी ने कहा कि यह बिल लोकसभा और राज्यसभा में पारित हो चुका है। अब इसे राष्ट्रपति की मंजूरी का इंतजार है और उसके बाद कानूनी जांच का सामना करना पड़ेगा। हम संवैधानिक कदम उठाएंगे, क्योंकि संसद में पारित संशोधन असंवैधानिक है।सोनिया गांधी ने विधेयक की आलोचना कीकांग्रेस संसदीय दल (CPP) की नेता सोनिया गांधी ने सरकार पर मनमाने तरीके से वक्फ (संशोधन) विधेयक को पारित करने के लिए दबाव बनाने का आरोप लगाया है। उन्होंने विधेयक को “संविधान पर एक खुला हमला” बताया और आरोप लगाया कि यह समाज में स्थायी ध्रुवीकरण को बनाए रखने की भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की जानबूझकर बनाई गई रणनीति का हिस्सा है।

Comments are closed.

This website uses cookies to improve your experience. We'll assume you're ok with this, but you can opt-out if you wish. Accept Read More