गांधीनगर। कांग्रेस नेता हार्दिक पटेल लोकसभा चुनाव नहीं लड़ पाएंगे। गुजरात हाईकोर्ट ने शनिवार को 2015 मेहसाणा दंगा मामले में उनकी सजा निलंबित करने से इनकार कर दिया।
हार्दिक हाल ही में कांग्रेस में शामिल हुए हैं। माना जा रहा था कि पार्टी उन्हें जामनगर से टिकट दे सकती थी। हार्दिक पहले ही लोकसभा चुनाव लड़ने का ऐलान कर चुके हैं। लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 के मुताबिक, हार्दिक सजा के चलते लोकसभा चुनाव नहीं लड़ पाएंगे।
23 जुलाई 2015 को पाटीदार आरक्षण आंदोलन के वक्त मेहसाणा में दंगा हुआ था। दरअसल, मेहसाणा पाटीदार आंदोलन का गढ़ था और इसकी शुरुआत विसनगर की सभा से ही हुई थी। इसके बाद वहां के भाजपा विधायक ऋषिकेश पटेल के दफ्तर में तोड़फोड़ की गई थी। कोर्ट ने इस मामले में हार्दिक पटेल, लालजी पटेल और एके पटेल को जुलाई 2018 में सेशन कोर्ट ने को दो-दो साल की सजा सुनाई थी। इस मामले में 14 आरोपियों को बरी कर दिया गया था। हालांकि, बाद में कोर्ट ने सभी दोषियों को जमानत दे दी।