निजी अस्पतालों को लिया गया रिमांड पर , दिया था मरीजों को धोखा

आर जे न्यूज़ म०प्र०

  • साठ नरसिह होम पर लगा ताला

  • 392 को जारी हुआ नोटिस

भोपाल। मध्य प्रदेश की शिवराज सरकार ने नया फरमान जारी किया है. जिसमें नियमों का उल्लंघन और मापदंडों का पालन नहीं करने वाले नर्सिंग होम पर बड़ी कार्रवाई की गई है. स्वास्थ्य विभाग ने नियम के खिलाफ खुले अस्पतालों पर ताबड़तोड़ कार्रवाई करते हुए एक दिन में ही राजधानी के 10 प्राइवेट अस्पतालों सहित प्रदेश के 60 प्राइवेट अस्पतालों के लाइसेंस निरस्त कर दिए.
दरअसल, कोरोना वायरस की दूसरी लहर के दौरान कई नए नर्सिंग होम खुल गए थे. इन नर्सिंग होम में स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी नियमों का पालन नहीं किया जा रहा था.अधिकारियों के मुताबिक लंबे समय से कुछ अस्पतालों के खिलाफ शिकायत मिल रही थीं.
ऐसे में स्वास्थ्य विभाग ने जिलों के सीएमएचओ 692 प्राइवेट अस्पतालों की सूची देकर जांच के आदेश दिए गए थे. इनमें से 392 प्राइवेट अस्पतालों को जांच में कमियां पाई जाने पर कारण बताओ नोटिस थमाया गया था.

392 नर्सिंग होम को जारी किया था नोटिस

गौरतलब है कि इन नर्सिंग होम को बीते एक महीने पहले स्वास्थ्य विभाग की ओर से नोटिस जारी किया गया था. इसके बाद ही स्वास्थ्य विभाग की तरफ से कार्रवाई की गई. 10 नर्सिंग होम भोपाल, 24 ग्वालियर और बाकी अन्य जिलों के है. इसके अलावा 392 नर्सिंग होम को नोटिस जारी किया गया है.

10 नर्सिंग होम के रजिस्ट्रेशन किए गए निरस्त

सीएमएचओ भोपाल डॉ. प्रभाकर तिवारी ने बताया कि लगातार शिकायतें मिल रही थीं. पहले 16 जून को भोपाल के 9 नर्सिग होम को नोटिस दिया था. इनमें से आज दो का लाइसेंस निरस्त किया गया है. इसके अलावा 48 अन्य अस्पतालों को भी नोटिस जारी किए गए थे, उनमें से 8 के रजिस्ट्रेशन कैंसिल कर दिए गए हैं. उन्होंने कहा कि नर्सिंग होम बिना उपकरण और बिना स्टाफ से चलाए जा रहे थे. जिनको पहले नोटिस जारी किया गया. उनके जवाब संतोषजनक नहीं होने के बाद रजिस्ट्रेशन कैंसल करने की कार्रवाई की गई.

प्रदेश ब्यूरो

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