आयुष्मान कार्ड का दुरुपयोग कर, प्राइवेट अस्पताल सरकार की योजनाओं को लगा रहे पलीता

केंद्र सरकार द्वारा जारी किए गए आयुष्मान कार्ड के जरिए हर गरीब वा सामान्य वर्ग को इलाज मुहैया कराने का दावा तो कर रही है मगरआयुष्मान कार्ड का प्राइवेट अस्पतालो में किस कदर इसे यूज कर लोगों को ठगने का काम किया जा रहा है जिसको हम आपको अपने चैनल के माध्यम से दिखाते हैं यह हम इसलिए कह रहे हैं क्योंकि सरकार गरीब वर्ग और मध्यम वर्ग को आयुष्मान कार्ड की श्रेणी में रखकर उन्हें इलाज रत तो बना रही है किंतु इसका कितना पालन जमीनी स्तर पर हो रहा है एवम डॉक्टर इसको किस तरह से अपने यूज़ में ले रहे हैं यह आप इस खबर से समझ सकते हैं

हम बात कर रहे हैं मध्य प्रदेश के कटनी जिले के एक नर्सिंग होम की जिसमें एक वृद्ध पुरुष जिसकी उम्र 80 वर्ष ग्राम बिछुआ निवासी को भर्ती किया जाता है और उनसे उनका आयुष्मान कार्ड लेकर वृद्ध के इलाज करने का दावा किया जाता है लेकिन बाद में उनसे यह कहकर पैसे ले लिए जाते हैं कि उनके आयुष्मान कार्ड से उन्हें फायदा नहीं होगा और उनसे ₹80000 ले लिए जाते हैं लेकिन जब यह मामला सामने आता है और खुलासा होता है तो पूरी हकीकत सामने आती है कि अस्पताल प्रबंधन के द्वारा धोखाधड़ी कर वृद्ध से आयुष्मान कार्ड लेकर उनके आयुष्मान कार्ड से 32310₹ का ट्रांजैक्शन वृद्ध के इलाज में किया जाता है और उसे यह कहा जाता है

कि आपका आयुष्मान कार्ड से इलाज नहीं हो सकता जिसके एवज में उनसे 80 हजार की रकम जीजी नर्सिंग होम के संचालक डॉक्टर विकास गुप्ता द्वारा जमा कराई जाती है यह नर्सिंग होम कटनी जिले में काफी चर्चाओं में पूर्व में भी रहा क्योंकि कोविड-19 नर्सिंग होम के बड़े ही कारनामे सामने आए थे उसके बाद इस तरह से एक वृद्ध के साथ धोखाधड़ी करने का मामला सामने आया है तो कटनी शहर में जीजी नर्सिंग होम फिर से चर्चा में बन चुका है

कटनी के निवार पहाड़ी का रहने वाला वृद्ध फदालीराम पटेल अपने पैर की हड्डी टूटने का इलाज कराने सीजी नर्सिंग होम में गया था जहां पर उससे नर्सिंग होम वालों डिस्चार्ज करने के समय 30हजार रुपये की मांग किये व्रद्ध मरीज व्रद्ध महिला कर्जा लेकर किसी तरह 30 हजार रुपये भुगतान कर अपने पति को घर ला सकी, डॉक्टर विकास गुप्ता जो जीजी नर्सिंग होम के संचालक है इनके द्वारा क्या कारनामा किया गया कि वह अब हर सरकारी दफ्तर पर न्याय पाने के लिए दर-दर भटक रहा है

वृद्ध के द्वारा बताया गया कि उसकी कोई संतान नहीं है वह अपना घर चलाने का एक अकेला पुरुष था जो मजदूरी कर कर घर चलाता था लेकिन अब इस हालत में वह मजदूरी भी नहीं कर सकता जिसके चलते उसकी उम्र दराज पत्नी सब्जी बेच कर दो टाइम गुजारा कर पाती हैं यहां तक की अपनी जमीन को बेचकर अपने पति का इलाज कराया स्वास्थ्य विभाग के जिला स्वास्थ्य अधिकारी का कहना है आपके द्वारा यह बात मेरे संज्ञान में आई हैंअगर ऐसा है तो संबंधित नर्सिंग होम में जांच उपरांत कार्यवाही की जाएगी।

राष्ट्रीय जजमेंट संवाददाता कटनी से श्यामलाल सूर्यवंशी की खास रिपोर्ट

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