बुन्देल खंड : किसानों के लिये मुसीबत बन रहे है अन्ना जानवर

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बनवाई गयी गौशालाएं हो रही है सफेद हाथी साबित
पनवाड़ी 6 अगस्त। शासन द्वारा अन्ना पशुओं के लिये लाखों की लागत से गौशालाओं का निर्माण कार्य कराया गया है लेकिन यह गौशालाएं सफेद हाथी साबित हो रही है और अन्ना जानवरों के खुले घूमने से किसानों की फसले बर्बाद हो रही है। क्षेत्र के किसानों का कहना है कि अन्ना पशुओं से किसानों को निजात दिलाने के लिये शासन द्वारा विकास खण्ड के 42 ग्राम पंचायतों में गौशाला निर्माण कराया गया है
लेकिन वर्तमान समय में ज्यादातर गौशालाएं खाली नजर आ रही है। गौशालाओं के गौवंश खुले में घूमकर किसानों की फसलें चट कर रहे है। किसानों का कहना है कि गौशालाएं होने से उनमें यह उम्मीद जागी थी कि अब उनकी फसलें सुरक्षित रहेगी, लेकिन वर्तमान समय में अन्ना जानवरों के घूमने से उनकी फसलें बर्बाद हो रही है,
इस सम्बन्ध में जब एडीओ पंचायत दयाराम निर्मल से जानकारी की तो उन्होंने बताया कि सभी ग्राम प्रधानों को अन्ना पशुओं के गौशाला में बंद करने के आदेश दिये गये है। यदि गौशालाओं में अन्ना जानवर नही है तो सम्बन्धित के खिलाफ कार्यवाही की जायेगी।

प्रधान प्रतिनिधि के सुझाव की हो रही सराहना

पनवाड़ी । विकास खण्ड के ग्राम टिकरिया के विकास खण्ड के प्रधान प्रतिनिधि ने जहां एक ओर शासन द्वारा लाखों रूपये खर्च कर अन्ना पशुओं की सुरक्षा के लिये गौशाला बनवायी जा रही है वही दूसरी ओर प्रधान प्रतिनिधि ने गांव में एक आम सभा कर
किसानों की फसलों को अन्ना पशुओं से बचाने हेतु प्रत्येक बड़े किसानों के घरों में एक-एक अन्ना पशुओं बनवाने का प्रस्ताव पारित किया। किसानों ने एक-एक पशु अपने घर पर बांध कर उसे चारा पानी उपलब्ध कराया इससे किसानों की फसलें बच रही है और प्रधान प्रतिनिधि दरयाव सिंह की सराहना की जा रही है।
राष्ट्रीय जजमेंट के लिए महोबा से काजी आमिल की रिपोर्ट

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