विश्वकर्मा समाज एकजुट होकर सत्ता और सरकार में भागीदारी निभाये

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गोण्डा। अखिल भारतीय शिल्पकार महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष राम आसरे विश्वकर्मा ने कहा कि भगवान विश्वकर्मा हमारे आराध्य देव हैं।
पूरा देश 17 सितम्बर विश्वकर्मा पूजा के अवसर पर केवल विश्वकर्मा ही नहीं बल्कि
उद्योगों में काम करने वाले सभी लोग उनकी पूजा करते है और उनका सम्मान करते है लेकिन
प्रदेश की भाजपा सरकार ने भगवान विश्वकर्मा के पूजा दिवस के सार्वजनिक अवकाश को
निरस्त कर उनका अपमान कर दिया।हम इस अपमान को कदापि बर्दाश्त नहीं करेगे।
सपा सरकार में मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव ने विश्वकर्मा पूजा दिवस पर सार्वजनिक अवकाश
घोषित कर विश्वकर्मा समाज की पहचान बनायी थी जिसे भाजपा सरकार मिटा रही है।
जब तक विश्वकर्मा समाज राजनैतिक फैसले नहीं लेगा और विधायक सांसद मन्त्री नहीं बनायेगा तब
तक समाज न तो मजबूत बनेगा और न लोगो को भागीदारी मिलेगी।
सपा सरकार में राम आसरे विश्वकर्मा को मन्त्री बनाकर सरकार में भागीदारी दी गयी थी।
विश्वकर्मा समाज के विकास के लिये नीतियां बनायी गयी थी।
समाज के भूमिहीन लोगो को वर्कशाप और कुटीर उद्योग लगाने के लिये ग्रामसभा की जमीनो का पट्टा दिया गया था।
सरकारी नौकरियों में भर्ती करने हेतु इण्टर पास विश्वकर्मा समाज के लडको को आईटीआई का प्रमाणपत्र देने का शासनादेश जारी किया गया था।
भाजपा सरकार ने उन पर रोक लगा दी।श्री विश्वकर्मा ने समाज से अपील की वे एक नजर अपने कारोबार पर और
एक नजर सरकार पर रखें और जो सरकार समाज के हितो के विपरीत काम करे उस सरकार को बदल दो।
श्री विश्वकर्मा ने कहा कि भाजपा राज में विश्वकर्मा समाज पर लगातार उत्पीडन और अत्याचार हो रहा है।समाज के लोगो की हत्याये बलात्कार और
उनकी जमीनों पर कब्जे हो रहे हैं। न तो पुलिस कार्यवाही कर रही है और न सरकार सुनवाई कर रही है।
आश्चर्य है कि हमारी सरकार में बात बात पर आन्दोलन करने वाले विश्वकर्मा समाज के नेता
भाजपा सरकार में डर के मारे अब छुप गये है और उत्पीडन के विरोध में बोलने के लिये तैयार नहीं हो रहे है।
उन्होंने कहा कि सरकार अगर समाज की सुरक्षा नहीं करती तो विश्वकर्मा व्रिगेड के नौजवान  समाज की सुरक्षा और उनके सम्मान की रक्षा करने के लिये आगे आये।
समाजवादी पार्टी की सरकार में हत्या होने पर सरकार तत्काल कार्यवाही करती थी और सरकार के कोष से
उस परिवार की मदद भी होती थी।अब लोग इलाज के अभाव में मर रहे है और सरकार मदद नही कर रही है।
श्री विश्वकर्मा ने नौजवानों से पूछा कि आखिर भाजपा सरकार में कितनी नौकरी मिली। यह सरकार पिछडे वर्गो के आरक्षण को
समाप्त करने की साजिश कर रही है। अगर आरक्षण समाप्त हो गया तो पिछडे वर्ग के किसी ब्यक्ति को नौकरी नहीं मिलेगी।
पहले विश्वकर्मा समाज अपने पुश्तैनी लोहे और लकडी के कारोबार पर गुजारा कर लेता था लेकिन
बहुराष्ट्रीय कम्पनियों के आने के कारण उनका बाजार पर कब्जा हो गया और विश्वकर्मा समाज बेरोजगारी और भुखमरी के कगार पर पहुंच गया है।
श्री विश्वकर्मा ने मांग की कि लोहे लकडी का कारोबार विश्वकर्मा समाज के लिये
आरक्षित किया जाय और लकडी कारोबार पर लगा जीएसटी समाप्त किया जाय तथा
सरकार इन्हें विशेष सुविधायें दे। विश्वकर्मा समाज की जनसंख्या के आधार पर
सरकारी नौकरियों सरकारी पदों और राजनीति और सरकार मे  हिस्सेदारी दी जाय।
विश्वकर्मा समाज वोट के महत्व को समझे और एकजुट होकर सत्ता और
सरकार में भागीदारी निभाये। अखिल भारतीय विश्वकर्मा शिल्पकार महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष
पूर्वमन्त्री राम आसरे विश्वकर्मा ने गोण्डा के गांधी पार्क में विश्वकर्मा स्वाभिमान सम्मेलन को सम्बोधित करते हुए कहा।
समाज अब अपना अधिकार अपनी हिस्सेदारी  लेने के लिये सडक से लेकर संसद तक पर संघर्ष करने के लिये तैयार है।
श्री विश्वकर्मा ने भरोसा दिलाया कि आप हमारा साथ दो हम आपको अधिकार और भागीदारी दिलायेगे।
कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि पूर्वमंत्री विनोद कुमार सिंह उर्फ पंडित सिंह तथा
सपा जिलाध्यक्ष ओमकारनाथ पटेल ने सम्मेलन को सम्बोधित किया।
जिसकी अध्यक्षता मनीराम विश्वकर्मा और संचालन जयलाल विश्वकर्मा तथा
आयोजन महासभा के प्रदेश सचिव शिव कुमार विश्वकर्मा ने किया।
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अखिल भारतीय विश्वकर्मा शिल्पकार महासभा के प्रदेश अध्यक्ष अच्छेलाल विश्वकर्मा, प्रदेश महामन्त्री
राकेश विश्वकर्मा, राष्ट्रीय सचिव विश्वनाथ विश्वकर्मा, प्रदेश सचिव श्यामजी विश्वकर्मा,
जिलाध्यक्ष मनीराम विश्वकर्मा, अनिल विश्वकर्मा, पुत्तीलाल विश्वकर्मा, किशोरीलाल विश्वकर्मा,
शाहबदीन विश्वकर्मा, नन्दकिशोर विश्वकर्मा, दिवाकर विश्वकर्मा, चन्द्रशेखर विश्वकर्मा,
सोनू विश्वकर्मा, कमल विश्वकर्मा, नरेन्द्र विश्वकर्मा, सुनील विश्वकर्मा, रामदीन विश्वकर्मा, राकेश विश्वकर्मा, रक्षाराम विश्वकर्मा,
प्रमोद विश्वकर्मा, श्रवण विश्वकर्मा, कौशल विश्वकर्मा सहित आदि ने सम्बोधित किया।

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